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January to March 2024 Article ID: NSS8661 Impact Factor:7.67 Cite Score:67555 Download: 366 DOI: https://doi.org/ View PDf
उज्जैन जिले में तिलहनी फसलों के अन्तर्गत मूंगफली फसल की उत्पादकता, लागत एवं लाभपर विशेष अध्ययन
डॉ. बी. एल. पाटीदार
प्राध्यापक (वाणिज्य) शा. महाविद्यालय, सोनकच्छ, जिला देवास (म.प्र.)महेन्द्र कुम्भकार
शोधार्थी, शा. माधव कला एवं वाणिज्य महाविद्यालय, उज्जैन (म.प्र.)
प्रस्तावना- मूंगफली वस्तुतः पोषक तत्त्वों
की अप्रतिम खान है। प्रकृति ने भरपूर मात्रा में इसे विभिन्न पोषक तत्त्वों से सजाया-सँवारा
है। मूंगफली वानस्पतिक प्रोटीन का एक सस्ता स्रोत हैं। इसमें प्रोटीन की मात्रा मांस
की तुलना में 1.5 गुना, अण्डों से 2.5 गुना एवं फलों से 8 गुना अधिक होती है। और इसमें
50 प्रतिशत वसा (फैट) होता है। 100 ग्राम कच्ची मूंगफली में 1 लीटर दूध के बराबर प्रोटीन
होता है। कार्बोहाड्रेड 10.2 प्रतिशत होता है। मूंगफली में प्रोटीन की मात्रा 25 प्रतिशत
से भी अधिक होती है, जबकि मांस, मछली और अंडों में उसका प्रतिशत 10 से अधिक नहीं होता
है। 250 ग्राम मूंगफली के मक्खन से 300 ग्राम पनीर, 2 लीटर दूध या 15 अंडों के बराबर
ऊर्जा की प्राप्ति आसानी से की जा सकती है। मूंगफली पाचन शक्ति बढ़ाने में भी कारगर
है। 250 ग्राम भूनी मूंगफली में जितनी मात्रा में खनिज और विटामिन पाए जाते हैं, वो
250 ग्राम मांस से भी प्राप्त नहीं हो सकता है। मूंगफली में तेल प्रतिशत मात्रा
45-55 प्रतिशत होता है।
